साइकिल रैली जौहर यूनिवर्सिटी को बर्बाद करने की कोशिश को रोकने के लिए है शांतिपूर्ण आंदोलन:तंज़ीन फातिमा

शहर से 3 विधायक और जिले से सांसद चुन के भेजा था उसी की उन्हें सजा मिली और बदला लिया गया:तंज़ीन फातिमा

अफसोसनाक है कि अपने मुल्क में अपने ही लोगों के द्वारा एक शिक्षण संस्थान के लिए रोज़ बुलडोज़र तैयार खड़ा है:तंज़ीन फातिमा

कोविड-19 वैक्सीनेशन कराउंगी अभी फिलहाल मेरी तबीयत ठीक नहीं है:तंज़ीन फातिमा

हमारे मुल्क की सबसे बड़ी ताकत किसान है,सारे नेता बंगाल और जगह चुनाव प्रचार में लगे हैं,सरकार क्यों किसानों से बातकर समाधान नहीं करती:तंज़ीन फातिमा

मैं और मेरी पूरी समाजवादी पार्टी किसानों के आंदोलन का समर्थन करती है:तंज़ीन फातिमा

रामपुर(मुजाहिद खान): समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के नेतृत्व में 2022 चुनाव का बिगुल रामपुर से साइकिल रैली की शुरुआत कर बजाएंगे।जिसकी शुरुआत रामपुर में जौहर यूनिवर्सिटी से साइकिल रैली से करेंगें और जनता को भी सम्बोधित करेंगे।12 मार्च से होने वाली साइकिल रैली को लेकर सपा सांसद आज़म खान की पत्नी शहर विधायक डॉ तंज़ीन फातिमा ने कहा कि जो समाजवादी पार्टी की साइकिल रैली हो रही है जौहर यूनिवर्सिटी को बर्बाद करने की जो कोशिश में हैं उसे रोकने के लिए एक शांतिपूर्ण आंदोलन है।जिसकी इजाज़त हमें संविधान भी देता है कि अगर हमारे अधिकारों का हनन हो रहा है तो उसके लिए हम शांतिपूर्ण आंदोलन भी कर सकते हैं।यह साइकिल रैली शांतिपूर्ण आंदोलन होगा।यह रैली जौहर यूनिवर्सिटी से शुरू होकर कई जिलों को होते हुए लखनऊ तक जाएगी।यह रैली आज़म खान और उनके परिवार और इस शहर के बेगुनाह लोगों का और खासकर समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ताओं का जो उत्पीड़न हो रहा है उसके खिलाफ एक आंदोलन है।
साइकिल रैली आंदोलन यूनिवर्सिटी से शुरू करने पर तंज़ीन फातिमा ने कहा कि यह अफसोसनाक बात है कि अपने ही मुल्क में अपने ही लोगों के द्वारा एक शिक्षण संस्थान के लिए रोज़ बुलडोज़र तैयार खड़ा है कि कब इसके गेट को गिरा दिया जाए और कब इसकी दीवारों को तोड़ दिया जाए और कब इसकी लाइब्रेरी को बर्बाद किया जाए।कहा कि लेकिन हम इसके आभारी हैं अपनी न्यायपालिका के और माननीय उच्च न्यायालय के बावजूद इसके कि प्रशासन ने हर मुमकिन कोशिश की है लेकिन इस यूनिवर्सिटी को टूटने से बचाया है।तंज़ीन फातिमा ने कहा कि यूनिवर्सिटी के छोटी-छोटी चीजों को निकाल कर कभी 4 कभी 6 कभी 8 मुकदमे दर्ज हुए हैं।अभी हाल में प्रशासन ने जो किया है कि यूनिवर्सिटी को सीलिंग एक्ट के तहत साढ़े 12 एकड़ जमीन रख सकते हैं उसको छोड़ कर बाकी सारी जमीन के रिकॉर्ड बदलवा दिए हैं और वह सरकार को दे दी गई है लेकिन यह जितनी भी जमीन थी हमें सरकार ने नहीं दी थी बल्कि कैबिनेट का फैसला था और यह जमीन खरीदने की इजाजत ली गई थी शासन से और शासन ने हमें जमीन खरीदने की इजाजत दी थी और यह सारी जमीन जो है वह यूनिवर्सिटी की खरीदी हुई जमीन है।कहा कि कौन सी यूनिवर्सिटी साढ़े 12 एकड़ में बन सकती है और सभी यूनिवर्सिटियों की जमीन खरीदी हुई है।कहा जहां तक यह कहना है कि शर्त थी कि उसमें चैरिटी के काम होना चाहिए तो चैरिटी के भी वहां बहुत काम हुए हैं बराबर ब्लड डोनेशन कैंप लगते थे और बहुत सारे चैरिटी के काम होते रहे हैं।कहा कि किस सीबीएसई स्कूल में इतनी कम फीस पर बच्चे पढ़ते हैं।जोकि ट्रस्ट से रामपुर पब्लिक स्कूल जुड़ा हुआ है वहां गरीब बच्चों के लिए या बीड़ी वर्कर्स के जो बच्चे हैं या जिन बच्चों के माता-पिता नहीं है उनके लिए सिर्फ 20 रुपये की फीस है पूरे हिंदुस्तान के किस सीबीएसई स्कूल में इतनी कम फीस है?जिसमें बच्चे पढ़ रहे हैं।आपको तो आज़म खान का आभारी होना चाहिए जो जिला शिक्षा के क्षेत्र में सबसे पिछड़ा हुआ था वो जिला शिक्षा के क्षेत्र में सबसे आगे है।
इस कार्यवाही को आज़म खान से सियासी रंजिश मानती हैं या यूनिवर्सिटी को निशाना-इस पर तंज़ीन फातिमा ने कहा हां मैं तो यही मानती हूं कि दुश्मनी एक व्यक्ति से हो सकती है उसके परिवार से हो सकती है लेकिन एक शिक्षण संस्थान से क्या दुश्मनी है जो शिक्षण संस्था देश के हित के लिए काम कर रही है आपके देश की जनता को शिक्षित कर रही है तो शिक्षण संस्थान से क्या दुश्मनी है।
अखिलेश द्वारा साइकिल रैली जौहर यूनिवर्सिटी से ही क्यों शुरू की जा रही है-इस पर कहा कि
शहर से 3 विधायक और जिले से सांसद चुन के भेजा था उसी की उन्हें सजा मिली और बदला लिया गया।यह रैली इसलिए रामपुर से शुरू हो रही है क्योंकि इसी शहर में समाजवादी पार्टी के लोगों पर समाजवादी पार्टी के जो चुने हुए लोग गए हैं एसेंबली में और लोकसभा में उन्हीं पर सबसे ज्यादा जुल्म हुए हैं और शहर के लोगों पर भी बहुत जुल्म हुआ है आखिर शहर के लोगों का गुनाह क्या था।रामपुर के लोगों का सिर्फ जुल्म यह था उन्होंने स्वार,चमरौआ और शहर से विधायक और जिले से सांसद चुन के भेजा था उसी की उन्हें सजा मिली और बदला लिया गया।डीएम के तबादले और नए डीएम पर कहा कि वक्त हमेशा एक सा नहीं रहता है वक्त बदलता है इस शहर में भी प्रशासनिक बदलाव हुआ है और मेरा ख्याल है कि कुछ अच्छा बदलाव है और बेहतर ही होगा।
बन्दूक बेचने की अनुमति और कोविड वैक्सीन लगवाने के सवाल पर तंज़ीन फातिमा ने कहा कि प्रशासन की तरफ से नोटिस जारी हुआ था कि आप दो ही लाइसेंस रख सकते हैं वह बेचने की अनुमति मांगी थी वह दे दी है कहा कि इलेक्शन के समय से ही शस्त्र विक्रेता के यहां असलाह जमा है वह वापस लिए ही नहीं है।और मेरे पास दो लाइसेंस हैं और अब्दुल्ला के पास एक लाइसेंस है बंदूक बेचने की अनुमति मिल गई है अब बंदूक बेची जाएगी जाएगी।
कोविड-19 के वैक्सीनेशन पर कहा कि वेक्सिनेशन कराउंगी अभी फिलहाल मेरी तबीयत ठीक नहीं है बाद में करवाऊंगी।कहा जनता जागरूक है और वैक्सीनेशन करा रही है और रामपुर में भी वैक्सीन लग रही है।
किसान आंदोलन पर तंज़ीन फातिमा ने कहा कि किसानों का संघर्ष और किसानों के आंदोलन में पूरी तरह से उनका समर्थन करती हूं हमारे मुल्क की सबसे बड़ी ताकत जो है वह किसान है।तमाम बड़े नेता बंगाल जा रहे हैं हर जगह चुनाव का प्रचार कर रहे हैं तैयारियों में लगे हैं तो किसानों के पास जाकर क्यों नहीं उनकी समस्याओं को सुनते हैं उनकी सुनना चाहिए।सरकार को सहानुभूति पूर्वक किसानों की समस्याओं का समाधान करना चाहिए जहां तक मुमकिन हो जो उनकी समस्या है उसको समझने की कोशिश करना चाहिए।कहा मैं और मेरी पूरी समाजवादी पार्टी किसानों के आंदोलन का समर्थन करती है।

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