मुरादाबाद मंडल में ईद-ए-मिलादुन्नबी का जुलूस धूमधाम से निकला
संवाददाता सय्यद आरिफ मियां
डिंगरपुर/कुंदरकी/बिलारी/मुरादाबाद (जदीद न्यूज)। ग्राम डिंगरपुर/बिलारी/बगरउआ/कुंदरकी/भीखनपुर/ मुरादाबाद में हज़रत मोहम्मद ﷺ के यौमे विलादत (ईद-ए-मिलादुन्नबी) के मौके पर निकाला गया जुलूस धार्मिक जोश-ओ-ख़ुरूश और पूरे उत्साह के साथ सम्पन्न हुआ। सुबह से ही गांव और आसपास के इलाकों में चहल-पहल नज़र आने लगी थी। जैसे ही जुलूस की शुरुआत हुई, नगर की गलियां “नारे-तकबीर” और “जश्ने-ईद-मिलादुन्नबी मुबारक” के नारों से गूंज उठीं। बच्चे, नौजवान और बुज़ुर्ग अपने हाथों में हरे झंडे और बैनर लिए चल रहे थे। जुलूस में शामिल लोगों ने नबी-ए-पाक ﷺ के पैग़ाम-ए-इंसानियत, मोहब्बत और भाईचारे को याद किया। घरों की छतों से महिलाओं और बच्चों ने जुलूस का इस्तक़बाल किया और फूलों की वर्षा कर माहौल को और भी खुशनुमा बना दिया।

नसीम पाशा ने झंडा फहराकर दिया भाईचारे और मोहब्बत का संदेश
इस मौके पर जिला पंचायत सदस्य नसीम पाशा अपने सैकड़ों साथियों के साथ मौजूद रहे। उन्होंने सबसे पहले झंडा फहराकर मोहब्बत और भाईचारे का संदेश दिया। नसीम पाशा पूरे जुलूस में कंधे से कंधा मिलाकर शामिल हुए। उन्होंने कहा कि “ईद-ए-मिलादुन्नबी हमें इंसानियत, अमन और मोहब्बत का सबक देती है। हमें चाहिए कि हम मिलकर समाज में भाईचारे को मज़बूत करें और नफ़रतों को ख़त्म करें। ”जुलूस के दौरान पूरे गांव की गलियां रंग-बिरंगी सजावट और रोशनी से जगमगा उठीं। जगह-जगह स्थानीय लोगों ने जुलूस का स्वागत किया और शर्बत, ठंडे पानी तथा मिठाइयों का इंतज़ाम किया। छोटे-छोटे बच्चों की टोलियाँ नबी-ए-पाक ﷺ के नाम की हम्द व नाते गाती हुई चल रही थीं, जिससे माहौल में रूहानियत और भी बढ़ गई। कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए प्रशासन और पुलिस द्वारा सुरक्षा के पुख़्ता इंतज़ाम किए गए थे। पूरे मार्ग पर पुलिस बल की तैनाती रही, जिससे आयोजन शांति और अमन-चैन के माहौल में सम्पन्न हुआ।जुलूस का समापन दुआ के साथ किया गया, जिसमें मुल्क की सलामती, तरक्की और अमन-ओ-चैन की दुआएँ मांगी गईं।
देवदास पाल साहब बिसरत खान आरिफ खान सिकंदर गुड्डू हैदर चमन भूरा शादाब उर्फ लाला हनीफ अहमद हसन रईस खान अशफाक रजाबुल खान डॉक्टर सलीम खान अकरम खान इस्लाम खान नासिर खान मोहम्मद सालिम आदि मौजूद रहे
ईद-ए-मिलादुन्नबी का यह जुलूस में गंगा-जमुनी तहज़ीब और आपसी भाईचारे की शानदार मिसाल साबित हुआ।